अनुपम खैर एक कलाकार हैं इसलिए उनमें भावुकता है साथ ही एक दर्द भी छुपा हुआ है इन तीनों चीजों का उपयोग अक्सर राजनीति कर लिया करती है ....... तीनों खासियतों के इंसान तो सैंकड़ों होंगे परंतु अनुपम के पास भीड़ भी है बस यही भीड़ राजनीति को आपके पीछे खींच लाती है । अनुपम जैसे सीधे इंसान जब राजनीति के हत्थे चढ़ जाते हैं तो उनमें कुछ ख़्वाब पलने लगते हैं। यदि राजनीति की हवा को भांपने की क्षमता उनमें है तो उन्हें ख़्वाब देखना चाहिए, स्मृति ईरानी इसका अच्छा दृष्टांत है वरना वे ख्वाबों से बाहर आ जाएँ तो बेहतर होगा । ये राजनीति बड़ी बेदर्द चीज़ है कहीं का नहीं छोड़ती । अमिताभ बच्चन ने अपने आपको वक़्त रहते अलग कर लिया था , अच्छी ख़ासी हैसियत वाले शत्रुघ्न सिन्हा आज भुगत रहे हैं । Total Pageviews
Sunday, April 10, 2016
अनुपम खैर
अनुपम खैर एक कलाकार हैं इसलिए उनमें भावुकता है साथ ही एक दर्द भी छुपा हुआ है इन तीनों चीजों का उपयोग अक्सर राजनीति कर लिया करती है ....... तीनों खासियतों के इंसान तो सैंकड़ों होंगे परंतु अनुपम के पास भीड़ भी है बस यही भीड़ राजनीति को आपके पीछे खींच लाती है । अनुपम जैसे सीधे इंसान जब राजनीति के हत्थे चढ़ जाते हैं तो उनमें कुछ ख़्वाब पलने लगते हैं। यदि राजनीति की हवा को भांपने की क्षमता उनमें है तो उन्हें ख़्वाब देखना चाहिए, स्मृति ईरानी इसका अच्छा दृष्टांत है वरना वे ख्वाबों से बाहर आ जाएँ तो बेहतर होगा । ये राजनीति बड़ी बेदर्द चीज़ है कहीं का नहीं छोड़ती । अमिताभ बच्चन ने अपने आपको वक़्त रहते अलग कर लिया था , अच्छी ख़ासी हैसियत वाले शत्रुघ्न सिन्हा आज भुगत रहे हैं ।
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