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मेरी क़लम से..मेरे विचार.....
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Sunday, April 21, 2013
शराब ने जब ले ही ली है मेरी जान तो,
दफ़न भी किसी मयक़दे में ही कर देना |
चंद बूँदें मय की किसी पैमाने से छलक,
मेरे चेहरे पे गिर जाए और मैं कहीं जी उठूँ।-
प्रियदर्शन शास्त्री
1 comment:
आनन्द विक्रम त्रिपाठी
April 21, 2013 at 10:38 AM
उम्दा ।
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उम्दा ।
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